विनम्र पृष्ठभूमि के स्व-शिक्षित उम्मीदवार भारत की प्रतिष्ठित यूपीएससी परीक्षा में उच्च रैंक हासिल करते हैं।
बिहार के एक छोटे से गाँव के अंशुमन राज ने यू. पी. एस. सी. सिविल सेवा परीक्षा में अखिल भारतीय रैंक 107 हासिल की, जो दर्शाता है कि कठोर आत्म-अध्ययन और दृढ़ता महंगे प्रशिक्षण के बिना सफलता की ओर ले जा सकती है। इसी तरह, स्वास्थ्य समस्याओं और व्यक्तिगत नुकसान का सामना करने वाली पश्चिम बंगाल की तरुनी पांडे ने स्व-अध्ययन और ऑनलाइन संसाधनों के माध्यम से यूपीएससी परीक्षा में 14वीं रैंक हासिल की और केवल चार महीने में अपनी तैयारी पूरी की। दोनों कहानियाँ महत्वपूर्ण लक्ष्यों को प्राप्त करने में दृढ़ संकल्प और प्रभावी तैयारी की शक्ति को उजागर करती हैं।
4 महीने पहले
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